डीजल ने इतिहास में दर्ज कराया अपना नाम, पहली बार पेट्रोल से महंगा हुआ दाम

कोरोना से तो लोग पहले से परेशान हैं अब तेल की कीमतों में आई उछाल लोगों की रसोई तक को प्रभावित करेगी. इस बार डीजल के दामों में 48 पैसे की बढ़ोत्तरी हुई. अब दिल्ली में एक लीटर डीजल 79.88 रुपये में मिलेगा. पहली बार ऐसा हुआ है जब डीजल के दाम पेट्रोल से ज्यादा हो गए हैं. डीजल ने भी एक बार से अपना नाम इतिहास में दर्ज करा दिया. क्या आपको ये बात पता है दूसरे देशो में डीजल की कीमतें पेट्रोल से ज्यादा होती हैं. क्योंकि इसके उत्पादन की लागत पेट्रोल से ज्यादा आती है. लेकिन भारत में ऐसा नहीं हैं. हिंदुस्तान की सरकारें अभी तक सब्सिडी और टैक्स के द्वारा इसे सस्ता रखती हैं. डीजल खेती, ट्रांसपोर्टए बिजली उत्पादन आदि में इस्तेमाल किा जाता है. डीजल को सस्ता रखने की वजह ये भी थी कि अगर डीजल को महंगा कर देंगे तो कृषि, ट्रांसपोर्ट और बिजली की कीमतों में भी बढ़ोत्तरी हो जाएगी जिसका असर देश की आम पब्लिक पर हो जाएगा. इसकी कल्याणकारी सोच के कारण डीजल को हमेशा पेट्रोल से सस्ता रखा जाता रहा है. मगर, इस सब्डिसी का बोझ भारत सरकार पर इतना ज्यादा हो गया कि डीजल और पेट्रोल की कीमतों में अंतर कम करने की मांग उठती रही. इस पर मोदी सरकार ने पेट्रोल के मुकाबले डीजल पर ज्यादा टैक्स लगा-लगाकर दोनों की कीमतों को बराबरी पर ला दिया है. क्या होगा असर डीजल की कीमतें बढ़ने का असर आम आदमी पर सबसे पहले पड़ेगा. भारत में ज्यादा माल वाहक वाहन डीजल से ही संचालित होते हैं. ऐसे में कीमत बढ़ने के बाद माल भाढ़ा भी बढ़ा दिया जाएगा जिसका असर खाद्य सामग्री पर पड़ेगा और कीमतें बढ़ेगी. जब कीमत बढ़ेगी तो हमारी जेब पर इसका सीधा बोझ बढ़ेगा.